टोनी आलम, एएनएम न्यूज़: बीती रात नाइट शिफ्ट में रानीगंज के बल्लभपुर पेपर मिल में हुए एक हादसे में बृजेंन मंडल नामक एक ठेका कर्मी की मौत हो गई, जिससे कारखाना परिसर में तनाव पसर गया। आपको बता दें कि यह श्रमिक लगभग 10 से 12 वर्षों से इस कारखाने में काम कर रहा था। कल कारखाने के अंदर नाइट शिफ्ट के दौरान हुए हादसे में ड्यूटी के दौरान उसकी मौत हो गई। श्रमिकों का कहना है कि बिना श्रमिकों को जानकारी दिए श्रमिक का शव कारखाना परिसर से निकाला कैसे गया और थाना कैसे ले जाया गया घटना के बारे में उनके एक साथी श्रमिक ने बताया कि रोज की तरह वह नाइट शिफ्ट में काम कर रहे थे जिस जगह पर काम कर रहे थे वहां रोशनी पर्याप्त नहीं थी, और कल उन्होंने तीन शिफ्ट में काम किया था इस वजह से उनकी आंख लग गई होगी। उस वक्त वहां एक जेसीबी मशीन आई और पर्याप्त रोशनी ना होने के कारण जेसीबी के चालक उनको देख नहीं पाए और जेसीबी का बकेट उन पर चढ़ा दिया। जिससे उनकी मौत हो गई। श्रमिकों का कहना है कि यह पूरी तरह से प्रबंधन की लापरवाही की वजह से घटी है। वही जब हमने इस बारे में कारखाना के एक अधिकारी से बात की तो उन्होंने भी कहा कि इस तरह की एक घटना घटी है जिसमें एक ठेका श्रमिक की मौत हो गई है। उन्होंने स्वीकार किया कि अगर कारखाना प्रबंधन की तरफ से कोई त्रुटि है तो उसे ठीक किया जाएगा वही मृत श्रमिक के बड़े भाई दीपेन मंडल ने कहा कि कारखाना के अंदर इस तरह का एक हादसा हुआ जिसमें उनके भाई की मौत हो गई उन्होंने इस बात पर हैरानी जताई कि बिना किसी को जानकारी दिए उनके भाई का शव कारखाना परिसर से निकाल कैसे लिया गया। उन्होंने बताया कि उनको जानकारी दी गई कि उनके भाई का शव और थाने में रखा हुआ है उनका साफ कहना था कि यह हादसा कारखाने के अंदर हुआ है उन्होंने कहा कि करीब 45 वर्षीय उनके भाई का एक बेटा है जो अभी 13 साल का है उनकी मांग है जब तक वह बालिग नहीं होता महीने में ₹7000 उसे दिया जाए एकमुश्त ₹300000 तथा उनके भाई के सत्कार के लिए ₹100000 दिए जाएं और जब उनके भाई का बेटा बालिक होगा तब उनको कारखाने में स्थाई नौकरी प्रदान की जाए।