एएनएम न्यूज, ब्यूरो: सीएए अधिसूचना को लेकर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा, ''जो लोग अभिन्न भारत का हिस्सा थे और जिन पर मुकदमा चलाया गया या अत्याचार किया गया, उन्हें भारत में आश्रय दिया जाना चाहिए और यह हमारा नैतिक और संवैधानिक कर्तव्य है।''
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विभाजन के समय पाकिस्तान के पास 23 प्रतिशत हिंदू और सिख, लेकिन अब वे केवल 3.7 प्रतिशत ही बचे हैं। वे सभी कहां गए? वे कभी वापस नहीं आए। उनका धर्म परिवर्तन किया गया, अपमानित किया गया, दोयम दर्जे का दर्जा दिया गया। वे कहां जाएंगे? क्या संसद उनके बारे में नहीं सोचेगी? अगर मैं बांग्लादेश की बात करूं तो 1951 में हिंदू आबादी 22 फीसदी थी, लेकिन अब आंकड़ों के मुताबिक 2011 में हिंदू आबादी घटकर 10 फीसदी रह गई है। वे कहां हैं?"
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