"बंगाल पुलिस थे शाहजहाँ के कर्मचारी", दिलीप घोष ने राज्य पुलिस और देव पर कसा तंज

जब शाहजहां सीपीएम के थे तो पिस्तौल रखते थे, अब AK47 रखते हैं। साथ ही विदेशी हथियार भी सामने आ रहे हैं। सीमा पर एक जगह है संदेशखाली, जहा हथियारों का जखीरा? अगर कोई देश विरोधी कार्य है तो भारत की सुरक्षा कहां है? केंद्र सरकार को तुरंत तलाश करनी चाहिए।

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Jagganath Mondal
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Dilip Ghosh

टोनी आलम, एएनएम न्यूज़ : बर्दवान दुर्गापुर लोकसभा क्षेत्र के भाजपा उम्मीदवार दिलीप घोष ने आज शनिवार सुबह दुर्गापुर के न्यू टाउनशिप पुलिस स्टेशन के तहत एबीएल के मैदान का दौरा किया। पैदल चलने के बाद उन्होंने सपना मार्केट इलाके में चा चक्र में भाग लिए। आज मॉर्निंग वॉक और टी सर्किल पर बीजेपी कार्यकर्ताओं और समर्थकों की भीषण भीड़ देखने को मिली। मीडिया से बातचीत के दौरान उन्होंने कहा कि इस राज्य में हथियार बरामद करने के लिए कमांडो लाना पड़ रहा है, चुनाव के लिए सीआईसीएफ को लाना पड़ रहा है, पश्चिम बंगाल पुलिस का कोई काम नहीं है? पश्चिम बंगाल को आतंकवादियों की शरणस्थली बना दिया। जब शाहजहां सीपीएम के थे तो पिस्तौल रखते थे, अब AK47 रखते हैं। साथ ही विदेशी हथियार भी सामने आ रहे हैं। सीमा पर एक जगह है संदेशखाली, जहा हथियारों का जखीरा? अगर कोई देश विरोधी कार्य है तो भारत की सुरक्षा कहां है? केंद्र सरकार को तुरंत तलाश करनी चाहिए। 200-250 लोग ईडी पर हमला करने वाले इन सभी आतंकवादियों की जेल में डालना चाहिए। एक समय राज्य पुलिस शाहजहाँ के कर्मचारी थे। पुलिस उनके खिलाफ शिकायत नहीं लेते थे। शाहजहाँ बांग्लादेश से रोहिंग्याओं को लाता था और फिर उन्हें इलाके में खाना खिलाता था और एक शिविर बनाता था। इस शिविर का खर्च जिला परिषद द्वारा दिया जाता था।

साथ ही टीएमसी नेता देव पर तंज कस्ते हुए कहा देव जितने के बाद घाटाल के लोगों के लिए क्या किया है?  वह उस क्षेत्र का बेटा है, सिर्फ इसलिए लोग उन्हें वोट देते है, पर उस क्षेत्र के लोग पूरे साल पानी में रहते हैं।