एएनएम न्यूज़, ब्यूरो : पश्चिम बंगाल (West Bengal) में करोड़ों रुपये के स्कूल भर्ती मामले (teacher recruitment scam) की जांच कर रहा ईडी (ED) अब इस संभावना की जांच कर रहा है कि कथित घोटाले से प्राप्त आय का एक हिस्सा एक विशेष राजनीतिक दल द्वारा चुनाव खर्च में इस्तेमाल किया जा रहा है या नहीं। जानकारी के मुताबिक इस वर्ष की शुरुआत में दो पूर्वोत्तर राज्यों के लिए अभियान चलाया गया। जांच के दायरे में उस विशेष राजनीतिक दल द्वारा अपने नेताओं द्वारा इन दो पूर्वोत्तर राज्यों की राज्य की राजधानी की लगातार यात्राओं के पीछे किए गए खर्च और इस संबंध में वहां आवास और अन्य संबंधित खर्चों पर किए गए खर्च हैं। ईडी के अधिकारियों को कुछ खास सुराग मिले हैं कि इन सब में किए गए खर्च का एक बड़ा हिस्सा नकदी में किया गया था। इसके कारण जांच अधिकारी इस नकदी के स्रोत को लेकर चिंतित हैं और उन्हें संदेह है कि स्कूल भर्ती आय का कुछ हिस्सा इन दो पूर्वोत्तर राज्यों में अभियान के उद्देश्य से खर्च किया गया था।
सूत्रों के मुताबिक ईडी के अधिकारियों को दो गिरफ्तार (Arrest) आरोपी व्यक्तियों के कुछ संपर्कों के बारे में भी जानकारी मिली है, जो मुख्य रूप से इन अभियान-संबंधी खर्चों की व्यवस्था करने के लिए जिम्मेदार थे। जहां प्रमुख भुगतान नकद में किए गए थे। ईडी जल्द ही उन्हें समन भेजकर मामले की जानकारी के लिए पूछताछ कर सकती है। ईडी ने कलकत्ता उच्च न्यायालय की न्यायमूर्ति अमृता सिन्हा की एकल-न्यायाधीश पीठ को सूचित किया कि उनके अधिकारियों ने स्कूल भर्ती मामले के संबंध में अब तक 126.70 करोड़ रुपये की संपत्ति कुर्क की है। न्यायमूर्ति सिन्हा ने तब कहा था कि जब तक पश्चिम बंगाल में करोड़ों रुपये के स्कूल भर्ती मामले के पीछे के मुख्य दिमाग की पहचान नहीं हो जाती, तब तक किसी भी हद तक जांच सफल नहीं होगी।