UN

WATER SHORTAGE
रिपोर्ट में कहा गया है कि पंजाब में 78 प्रतिशत कुओं का अत्यधिक दोहन किया जाता है और पूरे उत्तर-पश्चिमी क्षेत्र में 2025 तक गंभीर रूप से कम भूजल उपलब्धता का अनुभव होने का अनुमान है।