स्टाफ रिपोर्टर, एएनएम न्यूज: पति की लंबी उम्र के लिए सुहागिनें करवाचौथ का निर्जल व्रत 13 अक्तूबर गुरुवार को रखेंगी। ऐसी मान्यता है कि करवाचौथ व्रत रखने से पति के जीवन में किसी भी तरह का कष्ट नहीं आते हैं। साथ ही पति को लंबी आयु की प्राप्ति होती है।
महत्व: ऐसी मान्यता है कि करवाचौथ का व्रत करने से पति के जीवन में किसी भी प्रकार का कष्ट नहीं आता है। साथ ही पति को लंबी आयु की प्राप्ति होती है। करवाचौथ के व्रत में शिव, पार्वती, कार्तिकेय, गणेश और चंद्रमा के पूजन करने का विधान है। बताया कि महाभारत से संबंधित पौरणिक कथा के अनुसार, पांडव पुत्र अर्जुन तपस्या करने नीलगिरी पर्वत जाते हैं। दूसरी ओर बाकी पांडवों पर कई प्रकार के संकट पड़ते हैं।
पूजन- विधि: सूर्योदय से पहले स्नान करें और व्रत का संकल्प लें। पूरे दिन निर्जल व्रत रख शाम को भगवान शिव-पार्वती, कार्तिकेय, गणेश और चंद्रमा का पूजन करें। उनके समक्ष लड्डू रखकर नैवेद्य अर्पित करें। एक लोटा, एक वस्त्र और दक्षिणा समर्पण करें। विधि-विधान से पूजन करें। करवाचौथ की कथा सुनें या स्वयं वाचन करें। चंद्रमा के उदय होने पर चंद्रमा का पूजन कर अर्घ्य दें। इसके पश्चात निराजल व्रत का पारण करें।
अर्घ्य मुहूर्त का समय: चंद्रोदय शाम सात बजकर 54 मिनट पर होगा। उसी समय व्रती महिलाएं चंद्रमा को अर्घ्य देकर करवा चौथ की पूजा संपन्न करेंगी। इसके बाद वह पति को देखते हुए व्रत का पारण करेंगी।