स्टाफ रिपोर्टर, एएनएम न्यूज: पहले महिलाओं को 40 के बाद शारीरिक और सेक्सुअल समस्याएं होती थी लेकिन आजकल बदलती लाइफस्टाइल और खान पान की आदतों की वजह से शरीर में हॉर्मोनल बदलाव होते हैं और दिक्कतें 30 के बाद सेक्सुअल डिजाइर में कमी आने लगती है। गायनेकोलॉजिकल समस्याओं में पीरियड्स, प्रेग्नेंसी, व्हाइट डिस्चार्ज, सेक्शुअल समस्याएं आदि बहुत कुछ शामिल है। एक रिपोर्ट बताती है कि 45 फीसदी महिलाएं सेक्सुअल समस्याओं से जूझती हैं। आइये जानते है इन समस्याओं के बारे में।
पीसीओएस की समस्या: ये समस्या आजकल बहुत ही आम है, पहले पीसीओडी की समस्या महिलाओं को परेशान करती है और फिप 30 के बाद भले ही आप शादी कर लें या ना करें ये समस्या हो ही जाती है। कई बार इसके कारण बॉडी हेयर भी बहुत बढ़ जाते हैं और ये एक तरह से परेशानी का इशू बन जाता है।
वेजाइनल खुजली की समस्या: ये समस्या भी बढ़ती उम्र के साथ बढ़ने लगती है। यूटीआई की समस्या आजकल ज्यादा वर्किंग वूमेन को हो रही है। ये धीरे धीरे वैजाइनल इंफेक्शन में बदल जाती हैं। 30 के बाद यूटीआई की समस्या ज्यादा बढ़ जाता है, पीरियड्स के दौरान वैजाइना में खुजली और कई तरह की दिक्कत होती है।
ओवरी में सिस्ट की समस्या: आजकल ज्यादातर किसी भी महिला के मुंह से आप सुन पाएंगे कि उन्हें ओवरी में सिस्ट हो रही है या कोई गांठ दिख रही है। पीरियड्स के दौरान पेट में दर्द, नीचले हिस्से में दर्द होने लगता है।