स्टाफ रिपोर्टर, एएनएम न्यूज: रविवार, 4 दिसंबर को गीता जयंती है। कई पौराणिक ग्रंथ हैं और इनकी रचना इंसानों ने ही की है, लेकिन श्रीमद् भागवत गीता एकमात्र ऐसा ग्रंथ है, जिसे स्वयं भगवान श्रीकृष्ण ने अर्जुन को सुनाया है। श्रीकृष्ण के मुख से प्रकट होने की वजह से श्रीमद् भागवत गीता का महत्व सबसे अधिक है। ये एकमात्र हैं, जिसकी जंयती मनाई जाती है।
गीता हमें जीने की कला सिखाती है। गीता का मूलमंत्र यह है कि हमें हर स्थिति में कर्म करते रहना है। कभी भी निष्काम न रहें, क्योंकि कर्म न करना भी एक कर्म ही है और हमें इसका भी फल जरूर मिलता है।