स्टाफ रिपोर्टर, एएनएम न्यूज़: स्पइडर-मैन की पिछली फिल्म 'फार फ्रॉम होम' में जहां से पीटर पार्क की जिंदगी बदली थी, 'नो वे होम' वहीं से आगे बढ़ती है और समझाती है कि पीटर पार्कर के सच का दुनिया से छुपे रहना क्यों जरूरी है। हालांकि कुछ ऐसे सीन जरूर हैं, जो दर्शकों को जोड़ने में नाकामयाब होते हैं, लेकिन अधिकतर सीन्स में वह ऑडियंस संग इमोशनल कनेक्ट बनाने में सफल रहे हैं। अब बात करे कि फिल्म में क्या अच्छा और क्या बुरा है तो- फिल्म में विजुअल इफेक्ट्स, एक्शन, ह्यूमर और जबरदस्त सिनेमेटिक के साथ कई सारे सरप्राइज हैं। वही इमोशन का पुट कम कर थोड़ा और रोमांचित बनाया जा सकता था।