जामुड़िया बिजली विभाग में विरोध प्रदर्शन: लोगों के पास खाने के पैसा हो चाहे नहीं हो, स्मार्ट मीटर को रिचार्ज करना ही पड़ेगा

स्मार्ट मीटर लगाकर जनता को ठगने की कोशिश की जा रही है। स्मार्ट मीटर की वजह से अत्यधिक बिल आ रहा है। उन्होंने एक आंकड़ा बताते हुए कहा कि अगर पहले एक मध्यम वर्ग के परिवार के पास बिजली का बिल ₹500 आता था तो अब वह ₹2000 से ₹3000 आ रहा है। 

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Ankita Kumari Jaiswara
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टोनी आलम, एएनएम न्यूज़: अत्यधिक बिजली बिल लगातार लोड शेडिंग स्मार्ट मीटर लगाने का विरोध करते हुए माकपा एरिया कमेटी की तरफ से जामुड़िया बिजली विभाग के सब स्टेशन में मंगलवार को विरोध प्रदर्शन किया गया। इस मौके पर यहां माकपा नेता तापस कवि ने कहा के राज्य सरकार आम जनता के साथ खिलवाड़ कर रही है। उन्होंने कहा कि स्मार्ट मीटर लगाकर जनता को ठगने की कोशिश की जा रही है। स्मार्ट मीटर की वजह से अत्यधिक बिल आ रहा है। उन्होंने एक आंकड़ा बताते हुए कहा कि अगर पहले एक मध्यम वर्ग के परिवार के पास बिजली का बिल ₹500 आता था तो अब वह ₹2000 से ₹3000 आ रहा है। 

वही मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी नेता मनोज दत्ता ने कहा पश्चिम बंगाल राज्य बिजली बोर्ड की तरफ से 23 जुलाई से 15 अगस्त के बीच घरों में जा जाकर स्मार्ट मीटर लगाया जाएगा। उन्होंने कहा कि स्मार्ट मीटर का विरोध करना बहुत जरूरी है। उन्होंने इस बात के आशंका जाता है कि अगर अभी इस प्रक्रिया को नहीं रोका गया तो आने वाले समय में लोगों को अंधेरे में जीना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि जैसे मोबाइल फोन को रिचार्ज करना ही पड़ता है ठीक उसी तरह स्मार्ट मीटर लगने के बाद महीने में कई बार उसे रिचार्ज करना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि लोगों के पास खाने के पैसा हो चाहे नहीं हो, स्मार्ट मीटर को रिचार्ज करना ही पड़ेगा। उन्होंने कहा कि स्मार्ट मीटर के खिलाफ एक व्यापक अभियान चलाने के लिए प्रिंटेड हैंड बिल दिए गए हैं। उन्होंने लोगों से अपील की इस क्षेत्र में बिजली को लेकरबिजली विभाग के कार्यालय तक रैली की शक्ल में आए और एक विरोध प्रदर्शन करें।

इस मौके पर यहां मनोज दत्ता, तापस कवि, सुमित कवि, बादल कर्मकार, बुद्धादेव रजक, संकर रवानी, महेंद्र गोप, उज्जवल चटर्जी, संजय चटर्जी, कलीमुद्दीन अंसारी, धनंजय गोप, सुमित कवि, बुद्धदेव रजक, दिलीप बावरी, सुभाषित मंडल आदि उपस्थित थे।