स्टाफ रिपोर्टर, एएनएम न्यूज: एक अध्ययन के मुताबिक, वैज्ञानिकों ने कोविड-19 के खिलाफ टीकाकरण के बाद खून के थक्के बनने के बेहद दुर्लभ मामले संबंधी खतरे के बारे में जानकारी साझा की है। पांच यूरोपीय देशों और अमेरिका के स्वास्थ्य डेटा पर आधारित अध्ययन में ऑक्सफोर्ड-एस्ट्राजेनेका टीके की पहली खुराक लेने के बाद थ्रोम्बोसाइटोपेनिया सिंड्रोम के साथ थ्रोम्बोसिस के बढ़े खतरे का जिक्र किया गया है। फाइजर-बायोएनटेक टीके की तुलना में जॉनसन एंड जॉनसन टीके के बाद बढ़े हुए जोखिम की ओर भी ध्यान दिलाया गया है। शोधकर्ताओं ने उल्लेख किया कि सिंड्रोम बहुत दुर्लभ है।लेकिन बताया गया कि देखे गए जोखिमों पर 'आगे टीकाकरण अभियानों और भविष्य के टीके के विकास की योजना बनाते समय विचार किया जाना चाहिए।
अध्ययन के लेखकों ने बताया 'हमारे ज्ञान के लिए, यह एमआरएनए आधारित कोविड-19 टीकों की तुलना में एडेनोवायरस की तुलनात्मक सुरक्षा का पहला बहुराष्ट्रीय विश्लेषण है।' दुनिया भर में बड़ी संख्या में टीके की खुराक के कारण प्रभावित रोगियों की संख्या काफी हो सकती है।